Nav Bihan
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राष्ट्रीय लोक अदालत में विभिन्न मामलों से जुड़े 45 हजार 402 मामलों का हुआ निष्पादन

सुलहनीय राशि के रूप में प्राप्त हुई 3 करोड़ 15 लाख 16 हजार 81 रूपए

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गिरिडीह। गिरिडीह व्यवहार न्यायालय में शनिवार को आयोजित राष्ट्रीय लोक अदालत में वृहद स्तर पर कुल 45 हजार 402 मामलों का निष्पादन किया गया। राष्ट्रीय लोक अदालत की शुरूआत प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश सह जिला विधिक सेवा प्राधिकार गिरिडीह के अध्यक्ष मार्तंड प्रताप मिश्रा, कुटुंब न्यायाधीश धनंजय कुमार, जिला एवं सत्र न्यायाधीश प्रथम मनोज चन्द्र झा, पुलिस अधीक्षक डॉ विमल कुमार, जिला अधिवक्ता संघ के महासचिव चुन्नुकांत के द्वारा संयुक्त रूप से दीप प्रज्वलित कर की गई।

लोक अदालत को संबोधित करते हुए प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश मार्तंड प्रताप मिश्रा ने कहा कि आज के इस राष्ट्रीय लोक अदालत में उपस्थित पक्षकारगण भागीदारी को देखते हुए यह कहा जा सकता है कि लोक अदालत की महत्ता एवं जन-जन तक इसकी पहचान को प्रदर्शित करता है। उन्होंने कहा कि लोगों को सस्ता, सुलभ एवं त्वरित न्याय प्रदान करने के उद्देश्य से नालसा, नई दिल्ली के निर्देश पर पूरे देश में आज के दिन राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन किया गया है। राष्ट्रीय लोक अदालत में पक्षकार अपने मुकदमों को आपसी सहमति एवं सुलह समझौते के आधार पर निष्पादित करवा कर न सिर्फ मुकदमे बाजी से बच सकते हैं बल्कि आपस में भाईचारा एवं बंधुभाव स्थापित कर समाज में मिसाल कायम कर सकते हैं।

उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय लोक अदालत के आयोजन से पक्षकारों को अपने मामलों में त्वरित निष्पादन का लाभ तो मिलता ही है साथ ही न्यायालय का बोझ भी कम होता है। इस राष्ट्रीय लोक अदालत में सुलहनीय आपराधिक मामलों, पारिवारिक मामलों, सिविल मामलों, बैंक मामलों, वाहन दुर्घटना वाद से संबंधित मामलों, बिजली, वन, उत्पाद, माप तौल, खाद्य सुरक्षा इत्यादि विभागों से संबंधित मामलों का निष्पादन होने से आमलोगों को काफी राहत मिलता है।


वहीं पुलिस अधीक्षक डॉ विमल कुमार ने कहा कि पुलिस प्रशासन भी न्यायपालिका के साथ तालमेल स्थापित कर हर संभव मदद करने के लिए तत्पर है। जिला अधिवक्ता संघ के सचिव चुन्नुकांत ने राष्ट्रीय लोक अदालत के विशेषता एवं महत्ता पर प्रकाश डाला एवं आम पक्षकारों को आह्वान किया कि इस राष्ट्रीय लोक अदालत में बढ़-चढ़कर अपने मामलों का निष्पादन करा कर खुशी-खुशी अपने घर की ओर जाएं तथा समाज में सौहार्द एवं अमन का वातावरण बनाए रखें।


कार्यक्रम का संचालन जिला विधिक सेवा प्राधिकार के सचिव सफ़दर अली नैयर ने करते हुए बताया कि विभिन्न मामलों से संबंधित वादों के निष्पादन को लेकर कुल 13 पीठों का गठन किया गया था। सभी पीठ में न्यायिक कर्मचारियों एवं पारा लीगल वॉलिंटियर्स की प्रतिनियुक्ति की गई थी। राष्ट्रीय लोक अदालत में 45 हजार 402 प्री लिटिगेशन एवं लंबित मामलों का निष्पादन किया गया। जिसमें कुल 3 करोड़ 15 लाख 16 हजार 81 रूपए की सुलहनीय राशि संबंधित पक्षकारों को तथा राजस्व के रूप में विभिन्न विभागों को प्राप्त हुआ।

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